प्रदीप मिश्रा वरिष्ठ संवाददाता
*चावल मिल का DM Neha Sharma ने किया औचक निरीक्षण*
*जिले में तेज हो गई गेहूं खरीद की तैयारी*
*एक मार्च से शुरू हो रहा गेहूं खरीद का सीजन, न्यूनतम समर्थन मूल्य 2275 रुपया प्रति कुंतल*
*डीएम ने दी 98 क्रय केंद्र खोलने को दी मंजूरी*
Gonda News ::
जहां एक तरफ धान खरीद सत्र का समापन 29 फरवरी गुरुवार को हो गया। तो शुक्रवार एक मार्च से गेहूं खरीद के सीजन की शुरूवात हो रही है। डीएम नेहा शर्मा ने 98 खरीद केंद्र खोलने को मंजूरी दी है। एक मार्च से ही गेहूं क्रय केन्द्र खोल दिए जाएगे। गुरुवार को डीएम नेहा शर्मा ने मंगल राइस मिल का औचक निरीक्षण किया। उन्होंने सरकारी धान से बने चावल को भारतीय खाद्य निगम के गोदाम तक पहुंचाने के निर्देश दिए।
*जल्दी खरीद शुरू होने से बाहरी कम्पनियों से आगे निकल जाएगी सरकारी खरीद* जिले में प्राइवेट और बाहरी एजेंसियों और कम्पनियों को जिले में पाँव पसारने का मौका नहीं मिल सकेगा। अभी सरकारी खरीद शुरू होने में देरी का लाभ बाहरी लोग उठाते थे, इनके एजेंट किसानों को बरगलाकर उनके फसल की खरीद का सौदा कर लेते थे, हालांकि किसानों को प्राइवेट हाथों में अपनी उपज बेचने मे घाटा उठाना पड़ता था।
बताया जा रहा है कि
खाद्य विभाग की website पर यदि किसानों का धान बेचने के लिए विभागीय वेबसाइट पर पंजीकरण था तो अब गेहूं बिक्री के लिए बस केवल उसे update भर कराना होगा।
किसानों को गेहूं बेचने के लिए जनवरी महीने से ही पंजीकरण कराने का मौका दिया गया है जिसके तहत जिले में अब तक 859 किसानों ने गेहूं बेचने के लिए अपना पंजीकरण करा लिया है।
62 क्रय केन्द्र DM Neha Sharma ने स्वीकृत कर दिया है।
सरकार ने इस बार भी बिल्कुल साफ कर दिया है कि PFMS प्रणाली से किसानों को उनके गेहूं का मूल्य भुगतान 48 घंटे के भीतर उनके बैंक खातों में सीधे कर दिया जाएगा ।
सरकार ने चालू वर्ष में गेहूं का भाव में न्यूनतम समर्थन मूल्य MSP मे 150 रुपये की बढ़ोत्तरी की है।
सरकारी खरीद को बढ़ाने के लिए इस बार समय से पहले ही क्रय केंद्र खुल जाएंगे ताकि लोगों में सरकारी खरीद के प्रति भरोसा बढ़ सके। फसल तैयार होने से पहले और फिर तैयार होते होते किसान केंद्रों से सीधे संपर्क कर सकें इसका लाभ मिलेगा। बताया जा रहा है कि बीते वर्षों में एक अप्रैल से खरीद शुरू होती थी। मगर इस बार ये मिथक तोड़ने की भी तैयारी है।
इस साल किसानो से 100 कुंतल तक की खरीद को तहसीलों से किए जाने वाले सत्यापन से मुक्त होगी।
*धान खरीद में सरकारी मशीनरी ने बनाया रिकार्ड*
सरकारी धान खरीद अपने लक्ष्य के सापेक्ष 96 प्रतिशत हासिल हो चुकी है। धान खरीद का ये रिकार्ड 101000 मीट्रिक टन से अधिक का हो गया है। धान की ये खरीद जिले के विभिन्न क्षेत्रों में खरीद एजेंसियों ने 125 क्रय केंद्र खोलकर की है। अब तक हुई पूरी खरीद से 13486 किसानों को सीधा लाभ हासिल हुआ है। इन किसानों ने सरकारी क्रय केंद्रों पर धान की बिक्री की है। खरीदे गए धान का 97 प्रतिशत हिस्सा चावल मिलों को चावल बनाने के लिए भेजा जा चुका है। इस साल धान की खरीद एक लाख पांच हजार मीट्रिक टन की जानी है। जिला खाद्य एवं विपणन अधिकारी प्रज्ञा मिश्रा ने बताया कि शासन से निर्धारित लक्ष्य हासिल कर लिया जाएगा
गेहूं की खरीद 01 मार्च से प्रारम्भ होकर 15 जून तक होगी। इस वर्ष गेहूं का समर्थन मूल्य 2275/- रूपया प्रतिकुन्तल है। इस वर्ष बटाईदारों के माध्यम से भी गेहूं की खरीद की जायेगी। सरकारी केन्द्रों पर गेंहू बेचने के उपरान्त 48 घंटे के भीतर पीएफएमएस के माध्यम से सीधे कृषकों के खाते में भुगतान किये जाने की व्यवस्था है।
धान के केंद्रों पर उतराई एवं छनाई के मद में प्राप्त होने वाली 20 रू०/- कुन्तल की दर से धनराशि का भुगतान एमएपी के माध्यम से खाते में किया जायेगा।
सरकारी केन्द्रों पर गेहूं विकय से पूर्व खाद्य विभाग की वेबसाईट www.fcs.up.gov.in पर पंजीकरण किया जाना है।
यदि कृषक ने सरकारी केन्द्र पर इस वर्ष धान का विक्रय किया है तो गेहूं विक्रय करने हेतु नया पंजीकरण नहीं कराना होगा।
इस वर्ष 100 कुन्तल तक गेहूं विकय कराने हेतु सत्यापन की आवश्यकता नहीं होगी।
जिला खाद्य विपणन अधिकारी प्रज्ञा मिश्रा ने किसानो से अपील किया है कि वे सरकारी गेहूं कय केन्द्रों पर अपना गेहूं बेंचे और न्यूनतम समर्थन मूल्य रूपया 2275/- प्रतिकुन्तल की दर से 48 घंटे के भीतर अपने खाते में सीधे भुगतान प्राप्त करें।



