धूल फाँक रहीं आधार कार्ड बनाने की मशीनें, योजनाओं के संचालन में आ रही दिक्कत
प्रदीप मिश्रा, प्रमुख संवाददाता

Gonda News

गोंडा। जिले में पिछले डेढ़ साल से आधार कार्ड बनाने का कार्य ठप पड़ा हुआ है। लाखों रुपये खर्च कर खरीदी गई आधार बनाने की मशीनें अब कार्यालयों में धूल फांक रही हैं। सबसे ज्यादा परेशानी उन लोगों को हो रही है जिनके बच्चों का आधार अब तक नहीं बन सका है। योजनाओं का लाभ लेने से वंचित इन परिवारों को तरह-तरह की मुश्किलों का सामना करना पड़ रहा है।

सूत्रों के अनुसार, 16 सीडीपीओ कार्यालयों और एक नगर बाल विकास केंद्र पर आधार कार्ड बनाने की मशीनें स्थापित की गई थीं। शुरुआती दिनों में इन केंद्रों पर बच्चों व आमजन का आधार कार्ड बनाया भी गया, लेकिन बीते डेढ़ साल से ये मशीनें पूरी तरह ठप पड़ी हैं।

इस कारण पोषण अभियान समेत अन्य योजनाओं में बच्चों के नामांकन में बाधा उत्पन्न हो रही है। ग्रामीणों का कहना है कि आधार न बनने से राशन कार्ड, पेंशन और सरकारी छात्रवृत्ति जैसी जरूरी योजनाओं से लाभ नहीं मिल पा रहा है।

जिला कार्यक्रम अधिकारी संजय कुमार ने बताया कि “सीडीपीओ कार्यालय समेत अन्य स्थानों पर लगी आधार कार्ड बनाने की मशीनें और टैबलेट खराब हो गए हैं। इसकी जानकारी शासन को भेज दी गई है। बीते चार अगस्त को इन्हें पुनः चालू कराने के लिए पत्र भेजा गया है।”

मशीनें बंद रहने से योजनाओं के संचालन में कठिनाई आ रही है। नेटवर्क और बिजली की समस्याएं भी बड़ी चुनौती बनकर सामने आई हैं।

स्थानीय लोगों का कहना है कि यदि जल्द ही मशीनें दुरुस्त कर आधार बनाने का कार्य शुरू नहीं किया गया तो केंद्रों पर पंजीकृत बच्चों और महिलाओं को योजनाओं से वंचित रहना पड़ेगा।

 

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