सीएचसी अधीक्षिका के खिलाफ स्वास्थ्य कर्मियों में आक्रोश बढ़ा
चार दिन पहले से चल रहा है प्रदर्शन और नारेबाजी, लेकिन कोई कार्रवाई नहीं
तीन दिन का अल्टीमेटम, कार्य बहिष्कार की चेतावनी
प्रशासन से त्वरित निर्णय लेने की मांग
सीएचसी अधीक्षिका पर उत्पीड़न के आरोप, अनशन की चेतावनी
मानसिक दबाव में कर्मचारी, खुद को उत्पीड़न से आहत बता रहे
प्रदीप मिश्रा, प्रमुख संवाददाता

Gonda News

गोंडा: सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र (सीएचसी) में अधीक्षिका के कथित दुर्व्यवहार और कर्मचारियों के उत्पीड़न का मामला तूल पकड़ता जा रहा है। लगातार चौथे दिन भी स्वास्थ्य कर्मियों ने विरोध प्रदर्शन और नारेबाजी की। कर्मचारियों ने जिला मुख्य चिकित्सा अधिकारी (सीएमओ) के कार्यालय के बाहर प्रदर्शन कर प्रशासन से त्वरित निर्णय लेने की मांग की।

एसोसिएशन ऑफ कम्यूनिटी हेल्थ ऑफिसर्स उत्तर प्रदेश (गोंडा इकाई) के जिलाध्यक्ष ब्रम्हा प्रसाद ने इस विवाद पर कहा कि उच्चाधिकारियों को सार्थक समाधान की दिशा में कदम उठाने चाहिए। उन्होंने प्रशासन की निष्क्रियता को हठधर्मिता करार देते हुए इसे निराशाजनक बताया।

पंडरी कृपाल सीएचसी की अधीक्षिका के खिलाफ कर्मचारियों ने अनुचित व्यवहार और उत्पीड़न के आरोप लगाए हैं। उन्होंने उच्चाधिकारियों को शिकायत पत्र सौंपकर न्याय की गुहार लगाई है। कर्मचारियों का कहना है कि ब्लॉक चिकित्सा अधिकारी का रवैया कार्य करने में कठिनाइयाँ पैदा कर रहा है।
चिकित्सा कर्मियों ने बताया कि 21 फरवरी 2025 को भी अधीक्षिका के खिलाफ शिकायत दर्ज कराई गई थी, लेकिन सीएमओ प्रशासन ने कोई संतोषजनक कार्रवाई नहीं की। इससे कर्मियों में गहरी नाराजगी है और उनका आक्रोश बढ़ता जा रहा है। शिकायतकर्ता कर्मियों के अनुसार अधीक्षिका का व्यवहार अपमानजनक है, जिससे वे मानसिक तनाव में काम करने को मजबूर हैं। उनका कहना है कि लगातार उत्पीड़न के बावजूद प्रशासन की ओर से कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया है। इस निष्क्रियता से कर्मचारियों में असंतोष बढ़ रहा है। स्वास्थ्य कर्मियों ने प्रशासन को तीन दिनों का अल्टीमेटम दिया है। उन्होंने स्पष्ट किया कि यदि उनकी समस्याओं का समाधान जल्द नहीं हुआ तो वे कार्य बहिष्कार करने पर विवश होंगे। मातृ शिशु एवं महिला कल्याण महिला कर्मचारी संघ, जिला गोंडा के समर्थन से अनशन पर बैठने की भी चेतावनी दी गई है। कर्मचारियों ने प्रशासन से आग्रह किया है कि उनकी शिकायतों को गंभीरता से लिया जाए और जल्द से जल्द समाधान निकाला जाए। उन्होंने प्रशासन से अपील की कि वे उन्हें ऐसे कठोर कदम उठाने के लिए मजबूर न करें और उनके साथ न्याय करें। इस प्रदर्शन में सामुदायिक स्वास्थ्य अधिकारी सीएचओ सोनिका, ज्योति, नेहा आनंद, ब्यूटी वर्मा, स्वाती पाल, छाया श्रीवास्तव, अंजू कुमारी, आरती सिंह, कंचन, मनीषा, तारा सहित कई अन्य स्वास्थ्य कर्मी उपस्थित रहे।

एसोसिएशन ऑफ कम्यूनिटी हेल्थ ऑफिसर्स उत्तर प्रदेश (गोंडा इकाई) के जिलाध्यक्ष ब्रम्हा प्रसाद ने इस विवाद पर कहा कि उच्चाधिकारियों को सार्थक समाधान की दिशा में कदम उठाने चाहिए। उन्होंने प्रशासन की निष्क्रियता को हठधर्मिता करार देते हुए इसे निराशाजनक बताया।

 

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